शुक्र के प्रभाव और उपाय: लाल किताब के अनुसार
(Remedies for Venus in various houses according to Lal Kitab)
सामान्य तौर पर शुक्र को दो रूप में देखा जाता है, एक स्त्री एवं लक्ष्मी के रूप में तो दूसरा राक्षसों के गुरु के रूप में। एक ओर जहां शुक्र आमोद प्रमोद और सांसारिक संसाधन मुहैया कराता है, वहीं दूसरी ओर अदम्य साहसी कार्यों के लिए भी शक्ति देता है। हर युग में शुक्र का अपना महत्व रहा है। चाहे स्वर्ग हो या रावण की लंका, चाहे जनक की सभा हो या इंद्रपस्थ का महल, हर जगह शुक्र ने अपना प्रभाव दिखाया है।
हर युग में सोना, चांदी, हीरे जवाहरात, सौंदर्य, लक्ष्मी और स्त्री ने शुक्र का प्रतिनिधित्व किया है, लेकिन समय के साथ अब विलासिता का अर्थ बने शीर्ष उपकरण भी इसी श्रेणी में आने लगे हैं। इसकी कमी यही है कि एक दौर में जहां नोकिया मोबाइल लग्जरी का पर्याय बनकर उभरता है, वहीं अगले दौर में सैमसंग और आईफोन के रूप में लग्जरी के आयाम देता है। कार्य के आधार पर मोबाइल हमेशा बुध का प्रतिनिधित्व करेगा, लेकिन किस उपकरण से संचार या संदेशों का आवागमन हो रहा है, वह शुक्र के आधार पर देखा जाएगा।
कभी ब्लैक एण्ड व्हाइट टीवी और कुछ समय पहले तक रंगीन टीवी भी शुक्र के उपकरण थे, लेकिन आज टीवी खुद ही राहू का पर्याय बन गई है, क्योंकि ये फेक इमेज पैदा करती है और हर किसी के जद में है।
यही स्थिति कारों, बाइक्स, घरेलू उपकरणों और व्यापारिक संसाधनों के मामले में भी दिखाई देती है। मूलभूत वस्तुओं के अलावा विलासिता के उपकरण हर दौर में आमजन की पहुंच से बाहर एवं सुविधाओं का विस्तार करते नजर आते हैं। आने वाले दौर में घरेलू रोबोट भी इसी शुक्र का पर्याय बनकर आ सकते हैं।
कालपुरुष की कुण्डली में शुक्र का स्थान दूसरा और सातवां हैं। दूसरा भाव स्थावर संपत्ति, परिवार और मुख का कारक है, और सातवां भाव पत्नी, साझेदार और यात्रा में साथ चल रहे सहयात्री के रूप में भी देखा जाता है।
शुक्र की बुध और शनि से अच्छी मित्रता है, पुरुष कुण्डली में बुध नपुंसक है और स्त्री कुण्डली में शनि नपुंसक है। सौरमण्डल में शुक्र सूर्य के करीब होने के कारण अधिकांश सूर्य अथवा बुध के साथ युति बनाए हुए होता है।
मंगल शत्रु होने के बावजूद शुक्र के साथ होने पर अपने परिणाम बढ़ा देता है, जिस प्रकार पैट्रोल के पास आग होती है, उसी प्रकार शुक्र के साथ मंगल होता है। अधिकांशत: शुक्र मंगल की युति वासना बढ़ाने का काम करती है।
शुक्र चंद्रमा के साथ मिलकर नैसर्गिक लक्ष्मी योग बनाता है, जिस जातक की कुण्डली में शुक्र और चंद्रमा की युति हो, वह काम भावना में भी प्रबल होता है और विलासिता के साधन जुटाने में भी।
राहू अथवा केतू के साथ शुक्र के प्रभाव खराब हो जाते हैं। राहू के साथ शुक्र होने पर दूषित प्रभाव आते हैं और केतू के साथ शुक्र खुद पीडि़त हो जाता है।
शुक्र का पहले भाव में फल
Venus in First (1st) House
पहले घर का शुक्र जातक को अत्यधिक सुंदर, दीर्घायु, मॄदुभाषी, और विपरीत लिंगियो के बीच लोकप्रिय बनाता है। जातक की पत्नी बीमार रहती है। धर्म, जाति, पंथ जातक को किसी के साथ यौन संबंध बनाने में बाधक नहीं बनेंगे। आमतौर पर ऐसा जातक स्वाभाव से बहुत रोमांटिक होता है और अन्य महिलाओं के साथ प्यार और सेक्स के लिए लालायित रहता है। कमाई शुरू करने से पहले ही जातक की शादी हो जाती है। ऐसा जातक हमउम्र लोगो का नेता बन जाता है, लेकिन परिवार के सदस्यों का नेतृत्व करना मुसीबतों का कारण बनता है। ऐसा जातक कपडों के व्यापार से बहुत लाभ कमाता है। आमतौर पर ऐसे जातक की रुचि धार्मिक गतिविधियों में नहीं होती। जब वर्षफल में शुक्र सातवें भाव में आता है तो यह जीर्ण ज्वर और खूनी खाँसी का कारण बनता है।
शुक्र प्रथम भाव के उपाय (Venus First House Remedy)
- 25 वर्ष की उम्र में शादी न करें।
- हमेशा दूसरों की सलाह लेकर ही किसी नये काम की शुरुआत करें।
- काले रंग की गाय की सेवा करें।
- दिन के समय सेक्स करने से बचें।
- दही मिलाकर स्नान करें।
- गोमूत्र का सेवन बहुत उपयोगी होगा।
शुक्र का दूसरे भाव में फल
Venus in Second (2nd) House
दूसरों का बुरा या बुराई करना जातक के लिए हानिकारक साबित होगा। साठ वर्ष की उम्र तक पैसा, धन और संपत्ति बढते जाएंगे। शेरमुखी घर (सामने से व्यापक पीछे से कम) जातक के लिए विनाशकारी साबित होगा। सोने और आभूषणों से संबंधित व्यवसाय या व्यापार अत्यंत हानिकारक होगा। मिट्टी के सामान से जुडा व्यवसाय, कृषि और पशु बेहद फायदेमंद साबित होंगे। स्त्री जातक की कुण्डली में दूसरे भाव में स्थित शुक्र संतान की समस्या देता है जबकि पुरुष जातक की कुण्डली में ऐसी स्थित पुत्र संतान की प्राप्ति में बाधा उत्पन्न करती है।
शुक्र द्वितीय भाव के उपाय (Venus Second House Remedy)
- संतान की समस्या के लिए जातक को मंगल से संबंधित चीजें जैसे शहद, सौंफ अथवा देशी खांड का इस्तेमाल करना चाहिए।
- गायों को हल्दी के पीले रंग से रंगे दो किलोग्राम आलू खिलाएं।
- मंदिर में दो किलोग्राम गाय का घी भेंट करें।
- व्यभिचार से बचें।
शुक्र का तीसरे भाव में फल
Venus in Third (3rd) House
यहाँ स्थित शुक्र जातक को एक आकर्षक व्यक्तित्व देता है जिससे हर स्त्री उसकी ओर आकर्षित होती है। आम तौर पर सभी उसे प्यार करते हैं। यदि जातक किसी और स्त्री से संबंध रखता है तो जातक को अपनी पत्नी की चापलूसी करनी पडती है। अन्यथा वह हमेशा अपनी पत्नी पर हावी रहता है। हालांकि जातक की पत्नी सब पर हावी रहेगी लेकिन यदि जातक पराई स्त्री से संबंध नही रखता हो वह उस पर हावी रहेगा। जातक की पत्नी साहसी, समर्थक और बैलगाड़ी के दूसरे बैल की तरह जातक के लिए सहयोगी होगी। वह जातक को छल, चोरी और नुकसान से बचाने वाली होगी। अन्य महिलाओं के साथ संपर्क जातक के लिए हानिकारक साबित होगा और दीर्घायु पर प्रतिकूल असर डालने वाल होगा। यदि नवम और एकादश भाव में शुक्र के शत्रु ग्रह स्थित हों तो प्रतिकूल परिणामों की प्राप्ति होगी। जातक के कई बेटियां होंगी।
शुक्र तृतीय भाव के उपाय (Venus Third House Remedy)
- अपनी पत्नी का सम्मान करें और अतिरिक्त वैवाहिक मामलों से बचें।
- पराई औरतों के साथ छेड़खानी (फ्लर्ट) करने से बचें।
शुक्र का चौथे भाव में फल
Venus in Fourth (4th) House
चौथे भाव में स्थित शुक्र दो पत्नियों की संभावना को मजबूत करता है और जातक को धनवान बनाता है। यदि बृहस्पति दसम भाव में हो और शुक्र चौथे भाव में हो और जातक धार्मिक बनने की कोशिश करेगा तो हर तरफ से प्रतिकूल परिणाम मिलेंगे। यदि जातक ने कुएं के ऊपर छ्त बना रखी है या मकान बना रखा है तो चौथे भाव में बैठा शुक्र पुत्र प्राप्ति की संभावना को कमजोर करता है। बुध से संबंधित व्यापार भी नुकशान देय होता है। यदि जातक शराब पीता है तो शनि विनाशकारी प्रभाव देगा। मंगल से संबंधित व्यापार जातक के लिए फायदेमंद साबित होगा। चौथे घर का शुक्र और पहले घर का बृहस्पति सास से झगडा करवाता है।
शुक्र चतुर्थ भाव के उपाय (Venus Fourth House Remedy)
- अपनी पत्नी का नाम बदलें और उससे औपचारिक रूप से पुनर्विवाह करें।
- चावल, चांदी और दूध बहते पानी में बहाएं अथवा खीर या दूध माँ समान महिलाओं को खिलाने से सास और बहू के बीच होने वाले झगड़े शांत होंगे।
- पत्नी के स्वास्थ्य के लिए घर की छत को साफ और स्वच्छ बनाए रखें।
- बृहस्पति से सम्बन्धित चीजें जैसे चना, दालें, और केसर की तरह नदी में बहाएं।
शुक्र का पांचवें भाव में फल
Venus in Fifth (5th) House
पांचवां घर सूर्य का पक्का घर है जहां शुक्र सूर्य की गर्मी से जल जाएगा। नतीजन जातक इश्कबाज और कामुक होगा। उसे अपने जीवनकाल में बडे दुर्भाग्य का सामना करना पडेगा। हालांकि, यदि जातक अपने चरित्र को अच्छा बनाए रखता है वह जीवन की कठिनाइयों के को पार कर जाएगा और धनवान बनेगा। शादी के पांच साल के बाद उसे पदोन्नति मिलेगी। आम तौर पर ऐसा जातक अनुभवी और शत्रुओं को परास्त करने वाला होता है।
शुक्र पंचम भाव के उपाय (Venus Fifth House Remedy)
- अपने माता पिता की मर्जी के खिलाफ शादी न करें।
- गायों और माँ के समान स्त्रियों की सेवा करें।
- पराई स्त्रियों से सम्बन्ध न रखें।
- जातक दूध या दही से अपना गुप्तांग साफ करें।
शुक्र का छठे भाव में फल
Venus in Sixth (6th) House
यह घर बुध और केतू का माना गया है जो एक दूसरे के शत्रु हैं। लेकिन शुक्र दोनों का मित्र है। इस घर में शुक्र नीच का होता है। लेकिन यदि जातक विपरीत लिंगी को प्रसन्न रखता है और सारे और सुविधा उपलब्ध करवाता है तो उसके धन और पैसे में बृद्धि होगी। जातक की पत्नी को पुरुषों के जैसे कपडे नहीं पहनने चाहिए और न ही पुरुषों के जैसे बाल रखने चाहिए अन्यथा गरीबी बढती है। ऐसे जातक को उसी से विवाह करना चाहिए जिसके भाई हों। इसके अलावा, जातक कोई भी पूरा किए बिना काम बीच में नहीं छोडता।
शुक्र षष्ठम भाव के उपाय (Venus Sixth House Remedy)
- पत्नी के बालों में सोने की हेयर क्लिप का उपयोग करवाएं।
- खयाल रखें कि पत्नी नंगे पैर न चले।
- निजी अंगों को लाल दवा से धोएं।
शुक्र का सातवें भाव में फल
Venus in Seventh (7th) House
यह घर शुक्र का ही होता है अत: यहां स्थित शुक्र बहुत अच्छे परिणाम देता है। अगर यह इस घर में रखा गया है। पहले भाव में स्थित ग्रह सातवें भाव पर इस प्रकार प्रभाव डालता है मानो वह सातवें भाव में स्थित हो। यदि पहले भाव में स्थित ग्रह शुक्र का शत्रु ग्रह जैसे राहू हो तो जातक की पत्नी और घरेलू मामले बुरी तरह से प्रभावित होंगे। जातक बडे पैमाने पर अपने पैसे महिलाओं पर खर्च करता है। विवाह से संबंधित व्यापार-व्यवसाय जैसे टेन्ट हाउस और ब्यूटी पार्लर आदि का काम जातक के लिए फायदेमंद रहेगा। एक आँख और काली औरत के साथ एसोसिएशन उपयोगी साबित होगा। काने व्यक्ति या काली औरत की संगति फायदेमंद रहेगी।
शुक्र सप्तम भाव के उपाय (Venus Seventh House Remedy)
- सफेद गाय न पालें।
- लाल गायों की सेवा करें।
- जीवन साथी के बजन के बराबर किसी मन्दिर में जौ दान करें।
- गंदी नाली या नहर में 43 दिनों तक नीले फूल फेंकें।
शुक्र का आठवें भाव में फल
Venus in Eighth (8th) House
इस घर में कोई ग्रह शुभ नहीं माना जाता है यहां तक कि शुक्र भी इस घर में बिगड जाता है और जहरीला हो जाता है। ऐसे जातक की पत्नी गुस्सैल और अत्यधिक चिड़चिडी हो जाती है। उसके मुँह से निकली बुरी बातें निश्चित रूप से सच साबित होती हैं। जातक स्वयं की सहानुभूति से पीडित हो जाएगा। किसी की गारंटी या जामानत लेना विनाशकारी साबित होगा। यदि दूसरे भाव में कोई ग्रह न हो तो 25 साल से पहले शादी न करें अन्यथा पत्नी मर जाएगी।
शुक्र अष्ठम भाव के उपाय (Venus Eighth House Remedy)
- कोई भी वस्तु दान के रूप में स्वीकार न करें।
- नियमित रूप से मन्दिर जाएं और पूजा स्थलों तथा मंदिरों में सिर झुकाएं।
- तांबे के सिक्के या नीले फूल लगातार दस दिनों तक गटर या गंदे नाले में फेंकें
- दही से अपने गुप्तांगों को धोएं।
शुक्र का नौवें भाव में फल
Venus in Ninth (9th) House
इस घर में स्थित शुक्र अच्छे परिणाम नहीं देता। जातक धनवान हो सकता है लेकिन अपनी रोटी के लिए उसे कडी मेहनत करनी पडेगी। उसे अपने प्रयासों का उचित पुरस्कार नहीं मिलेगा। घर में पुरुष सदस्यों, पैसा, धन और संपत्ति की कमी हो जाएगी। यदि शुक्र बुध या किसी अशुभ ग्रह के साथ है तो जातक सत्रह साल की उम्र से नशे और किसी रोग का शिकार हो जाएगा।
शुक्र नवम भाव के उपाय (Venus Ninth House Remedy)
- घर की नींव चांदी और शहद दबाएं।
- पत्नी (या स्त्री है तो स्वयं) लाल चूड़ियाँ पहनें जिनमें चांदी की धारियां हों अथवा चांदी चूड़ियाँ जिन पर लाल रंग की डिजाइनिंग हो।
- किसी नीम के पेड़ के नीचे 43 दिनों के लिए चांदी का टुकड़ा दबाएं।
शुक्र का दसवें भाव में फल
Venus in Tenth (10th) House
इस घर में शुक्र जातक को लालची, संदिग्ध और हस्तकला में रुचि लेने वाला बनाता है। जातक अपनी पत्नी के मार्गदर्शन के तहत कार्य करेगा। जब तक पत्नी जातक के साथ होगी हर मुसीबत जातक से दूर रहेगी। कोई मोटर कार दुर्घटना या अन्य कोई नुकशान नहीं होगा। शनि से जुड़े व्यापार और चीजें फायदेमंद साबित होंगी।
शुक्र दशम भाव के उपाय (Venus Tenth House Remedy)
- निजी अंगों को दही से धुलें।
- घर की पश्चिमी दीवार मिट्टी की होनी चाहिए।
- शराब, अण्डा और मांशाहारी भोजन न करें।
- बीमार होने की दशा में काले रंग की गाय का दान करना चाहिए।
शुक्र का ग्यारहवें भाव में फल
Venus in Eleventh (11th) House
इस घर में शुक्र शनि और बृहस्पति से प्रभावित होता है, क्योंकि यह घर बृहस्पति और शनि के अंतर्गत आता है। यह घर तीसरे भाव से देखा जाता है जो कि मंगल और बुध का घर है। जातक की पत्नी अपने भाई के माध्यम से, बहुत फायदेमंद साबित होगी।
शुक्र एकादश भाव के उपाय (Venus Eleventh House Remedy)
- बुध का उपाय उपयोगी रहेगा।
- शनिवार को तेल का दान करें।
- आम तौर पर जातक के वीर्य में शुक्राणुओं की संख्या कम हो सकती है। ऐसे में जातक को दूध में सोने के गरम टुकडे को बुझाकर दूध पीना चाहिए।
शुक्र का बारहवें भाव में फल
Venus in Twelfth (12th) House
इस घर उच्च का शुक्र बहुत लाभकारी परिणाम देता है। जातक के पास ऐसी पत्नी होगी जो मुसीबत के समय में किसी ढाल की तरह कार्य करेगी। महिलाओं से मदद लेना जातक के लिए अत्यधिक फायदेमंद साबित होगा। जातक को सरकार से सहयोग मिलेगा। शुक्र की बृहस्पति से शत्रुता के कारण पत्नी को स्वास्थ्य से संबंधित परेशानियां हो सकती हैं। दूसरे या छठवें भाव में स्थित बुध जातक को रोगी बनाता है लेकिन जातक को साहित्यिक और काव्य प्रतिभा प्रदान करता है। ऐसा जातक 59 साल की उम्र में उच्च आध्यात्मिक शक्तियों प्राप्त करता है और 96 वर्षों तक जीवित रहता है।
शुक्र द्वादश भाव के उपाय (Venus Twelfth House Remedy)
- पत्नी (स्त्री) नीला फूल या फल सूर्यास्त (शाम) के समय किसी सुनसान जगह पर खोद कर दबाए, इससे स्वास्थ अच्छा रहेगा।
- यदि पत्नी दूसरों को दान देती है तो वह पति के लिए किसी रक्षा की दीवार की तरह काम करेगी।
- गाय पालें और दान भी करें।
- पत्नी को प्यार, इज्जत और सम्मान दें।
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